प्यारे दर्शकों, उमर ख़ालिद ने सुप्रीम कोर्ट से अपनी याचिका वापस ले ली। बार-बार स्थगित होने के बीच ज़मानत का इंतज़ार अंतहीन हो चुका है। सुप्रीम कोर्ट हमारे विश्वास की अंतिम सीढी़ है। वहां से कोई अपनी याचिका लेकर लौट जाए, उसकी चुप्पी चुभती है। उमर की चुप्पी से ज़्यादा उस दिल्ली की चुप्पी चुभ रही थी जिसने इस घटना पर कुछ कहा ही नहीं। हमारी यह रिपोर्ट उमर के बिना उस दिल्ली को देखने और समझने का प्रयास है, जो ख़ुदर्गज़ होती जा रही है। डरपोक तो हो ही गई है। वृंदा, धर्मेंद्र, सचिन, कनव, प्रिंस और आशीष ने बहुत दिल से इस पर काम किया है।समय और संसाधनों की कमी की सीमा को पार करते हुए अब यह कार्यक्रम आपके सामने है। हम उम्मीद करते हैं कि इसे आप ध्यान से देखेंगे और अपने आस-पास के साथियों, पड़ोसियों को दिखाएंगे और इस वीडियो को पूरा देखेंगे। इंसाफ़ की लड़ाई उसी की नहीं होती है जो लड़ता है, उनकी भी होती है जो किसी को लड़ता देखते हैं। शुक्रिया। रवीश कुमार
दिल्ली माइनस उमर ख़ालिद | Delhi minus Umar Khalid
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Calicut professor booked for Facebook post praising Godse. (Withdraw the case)
‘Our Ram is Gandhi’s Ram, Your Ram is Nathuram.’ John Brittas’ fiery speech in Parliament
उड जायेगा हंस अकेला / जग दर्शन का मेला – Remembering Mahatma Gandhi
